महाकाल बाबा की शाही सवारी गोपाल मंदिर होकर निकल सकती है; गोपाल मंदिर से सिंधिया करेंगे महाकाल की आरती


उज्जैन। बाबा महाकाल की शाही सवारी रामघाट से ढाबा रोड, गोपाल मंदिर, पटनी बाजार, गुदरी चौराहा होकर वापस मंदिर पहुंचे। यह प्रस्ताव आज प्रात: क्राइसिस मैनेजमेंट की बैठक में उपस्थित जनप्रतिनिधियों ने रखा। जनप्रतिनिधियों का कहना था कि इससे गोपाल मंदिर पर सवारी का परंपरागत पूजन-अर्चन हो सकेगा और हरिहर मिलन की परंपरा भी कायम रह सकेगी।


इस पर प्रशासन के उपस्थित प्रशासनिक अधिकारियों ने निर्णय लेने का आश्वासन दिया। बैठक में सांसद अनिल फिरोजिया, कैबिनेट मंत्री डॉ. मोहन यादव, विधायक पारस जैन सहित आमंत्रित जनप्रतिनिधि एवं कलेक्टर आशीषसिंह व एसपी मनोजकुमार सिंह उपस्थित थे। मंदिर समिति के सूत्रों के अनुसार शाही सवारी में बाबा के सभी सात मुखारविंद भी शामिल होंगे। बैठक में निर्णय लिया गया कि जिला अस्पताल स्थित बोहरा वार्ड में संचालित किए जा रहे फीवर क्लीनिक और कोरोना टेस्ट सेंटर का सुबह एवं शाम का समय अलग से निर्धारित हो ताकि मरीज इधर-उधर न भटकें। यह भी तय हुआ कि पर्युषण पर्व के दौरान सभी मंदिरों के बाहर साफ-सफाई, सैनेटाइजेशन की पर्याप्त व्यवस्था होगी और मंदिर में होने वाले धार्मिक कार्यक्रम शासन की गाइडलाइन के अनुसार होंगे।


ज्योतिरादित्य सिंधिया करेंगे महाकाल की आरती :


भाजपा के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया शाही सवारी के दौरान गोपाल मंदिर में उपस्थित रहेंगे तथा पालकी में विराजित बाबा महाकाल की आरती करेंगे। तत्कालीन सिंधिया रियासत के समय से यह परंपरा रही है कि शाही सवारी के दौरान पूर्व रियासत का कोई एक सदस्य बाबा महाकाल की आरती करता है। सूत्र बताते हैं कि शाही सवारी का मार्ग इसलिए परिवर्तित किया गया है ताकि सिंधिया आरती कर सके।


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