कवर्धा/छत्तीसगढ़। लॉकडाउन में देश से रोज दिल को झकझोर देने वाली खबरें सामने आ रही हैं। छत्तीसगढ़ में ऐसी ही एक दुखद तस्वीर देखने को मिली। जहां बेटा नहीं होने पर चार बेटियों ने अपने पिता की अर्थी ना केवल कंधा दिया, बल्कि, उन्हें मुखाग्नि देकर बेटे का फर्ज निभाया।
जब बेटियों ने पिता का क्रिया-क्रम करने का जिम्मा उठाया तो गांव के लोग भी रो पड़े। यह मार्मिक घटना 24 अप्रैल को कवर्धा जिले के कोसमंदा गांव में देखने को मिली। जहां 51 साल के कामता प्रसाद साहू का बीमारी के चलते निधन हो गया।
इसके बाद चार बेटियां पिता की अर्थी के साथ श्मशान घाट पहुंचीं और बड़ी बेटी ने मुखाग्नि दी। मुखाग्नि के साथ-साथ अंतिम संस्कार की सारी रस्में बेटियों ने ही निभाईं।
मृतक की आखिरी इच्छा थी कि उनकी चारों बेटियां ज्योति, जया, श्रद्धा और सुमन ही उनका दाह संस्कार करें। पिता की आखिरी इच्छा यह थी कि उनकी बड़ी ज्योति उनको मुखाग्नि देकर अंतिम संस्कार का रस्म निभाए। मृतक कामता प्रसाद पाटेश्वर सेवा संस्थान में सचिव पद में कार्यरत थे।मृतक के निधन पर कई लोगों ने वीडियो कान्फ्रेसिंग के जरिए शोक व्यक्त किया।